जल क्षेत्र में भारत का निवेश 2024 तक दुनिया में सबसे अधिक होगा : गजेंद्र सिंह शेखावत

जल जीवन मिशन के कार्यान्वयन के मॉडल की सराहना करते हुए सद्गुरु ने कहा, " मुझे लगता है कि मिशन का सबसे अच्छा हिस्सा है कि यह समुदाय-प्रबंधित है।

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गजेन्द्र सिंह शेखावत, केंद्रीय जल संसाधन मंत्री
गजेन्द्र सिंह शेखावत, केंद्रीय जल संसाधन मंत्री
  • 2019 से 2024 तक 210 बिलियन डॉलर का निवेश सिर्फ पानी के क्षेत्र में होगा
  • सद्गुरु ने भी जल जीवन मिशन के कार्यान्वयन के मॉडल की सराहना की

पोल टॉक नेटवर्क | नई दिल्ली/कोयंबटूर

केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत (minister Gajendra Singh Shekhawat) ने कहा कि भारत ने जल के क्षेत्र में 2019 से 2024 तक 210 बिलियन डॉलर का अनुमानित निवेश का लक्ष्य रखा है। उन्होंने कहा कि 2024 तक दुनिया में जल क्षेत्र में भारत का निवेश सबसे अधिक होगा।

शेखावत शनिवार को ईशा लीडरशिप अकादमी द्वारा आयोजित वार्षिक कार्यक्रम ‘ईशा इनसाइट: द डीएनए ऑफ सक्सेस ‘ के ग्यारहवें संस्करण को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने ईशा फाउंडेशन के संस्थापक सदेगुरु के साथ बातचीत में कहा कि जल प्रबंधन हमारी सामूहिक जिम्मेदारी है और हम सभी को इस दिशा में मिलकर काम करना होगा। इस दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ड्रिम प्रोजेक्ट जल जीवन मिशन की उपलब्धि गिनाते हुए शेखावत ने कहा कि हमारा उद्देश्य 2024 तक ग्रामीण भारत के हर घर तक नल से साफ और सुरक्षित पानी पहुंचाना है और हमें इस दिशा में तेजी से आगे बढ़ रहे हैं।

जल जीवन मिशन के कार्यान्वयन के मॉडल की सराहना करते हुए सद्गुरु ने कहा, ” मुझे लगता है कि मिशन का सबसे अच्छा हिस्सा है कि यह समुदाय-प्रबंधित है। भले ही इस योजना की नींव सरकार ने रखी लेकिन आज देश की जनता मिलकर इसका प्रबंधन कर रही हैं। मुझे लगता है कि यह भारत जैसे देश के लिए आगे बढ़ने का उचित मार्ग है।

जल जीवन मिशन डैशबोर्ड के अनुसार, 2019 में 16% भारतीय घरों में नल के पानी का कनेक्शन था जो अब बढ़कर 54% हो गया है। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि इस मिशन की सबसे खास बता है कि हमने सिर्फ लोगों के घरों तक पानी पहुंचाने पर ध्यान नहीं दिया बल्कि यह सुनिश्चित किया कि उसकी गुणवत्ता पर कोई असर न हो। साथ ही उन्होंने जल प्रबंधन की दिशा में किए जा रहे नवीन प्रयासों और प्रौद्योगिकी के इस्तेमाल की भी चर्चा की।

इंटरनेट ऑफ थिंग्स (IOT) और सेंसर-आधारित समाधानों को जल प्रबंधन में इस्तेमाल करने की दिशा में आगे बढ़ने में स्टार्ट-अप की भूमिका पर भी विस्तार से चर्चा की। उन्होंने बताया कि कैसे तकनीक के इस्तेमाल से आज लोगों के पास स्वच्छ पानी तो पहुंच ही रहा है साथ ही लोग उसकी रियल टाइम मॉनिटरिंग भी हो रही है।

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